बेशकीमती शासकीय भूमि का स्टांप पेपर में बकायदा नोटरी के साथ हुआ अवैध खरीद-फरोख्त….

तीन मकानों की शिकायत के बाद लगभग तीन दर्जन और मकान बन चुके…!!

राजस्व विभाग की उदासीनता या सांठगांठ से हुआ अतिक्रमण??

रायगढ़:- छातामुड़ा की बेशकीमती कोटवारी भूमि पर लगभग तीन दर्जन मकानों का अवैध अतिक्रमण और महंत समाज की श्मशान भूमि पर तीन होम गार्ड के मकानों का निर्माण कर शासकीय भूमि पर अतिक्रमण का मामला तहसील न्यायालय पुसौर में अभी चल रहा है और महंत समाज की श्मशान भूमि पर तीन दर्जन मकानों का निर्माण और हो चुका हैं! अब कोटवार भूमि और महंत समाज के श्मशान भूमि पर आज आक्रमणकारियों की संख्या लगभग 70 से अधिक हो चुकी है जिन्होंने उपरोक्त भूमि को स्टांप पेपर पर बकायदा रकम का उल्लेख कर जमीन की खरीदी बिक्री के प्रमाण मिले हैं! लगभग यूं कहे की शासकीय भूमि पर एक मोहल्ला ही बस गया है! ऐसा नहीं है कि रातों-रात यह मकानी बनी है शासकीय भूमि की खरीद-फरोख्त एवं मकान निर्माण के संबंध में राजस्व विभाग भलीभांति परिचित हैं क्योंकि पूर्व में शासकीय भूमि की अवैध खरिदी बिक्री के मामले में प्राथमिकता से खबर ललाए जाने पर राजस्व विभाग के नुमाइंदों के द्वारा मौके पर पहुंचकर जांच पंचनामा बनाया गया था जिसके आधार पर न्यायालय पर मामला चल रहा है! किंतु राजस्व विभाग के नुमाइंदों की उदासीनता कहें या सांठगांठ जिससे दिन-ब-दिन मकान निर्माण होता रहा और हल्के में पदस्थ पटवारी अपने घर में सोता रहा ! अब पूर्व में शासकीय भूमि पर अवैध कब्जे के दर्ज किए गए प्रकरण का निराकरण नहीं हुआ है और लगभग 3 दर्जन से अधिक शासकीय भूमि पर और मकान बन चुके हैं तथा कुछ मकान निर्माण अभी बड़ी तेजी से चल रहा है! ऐसे में अवैध कब्जा धारियों को बेदखल करने में प्रशासन पसीने छूट जाएंगे!!

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